I.A.S परीक्षा के 3 चरण होते है, जिसमे सबसे पहले प्रारम्भिक परीक्षा होती है, और इसे पास करने के बाद हि आप मुख्य परीक्षा में शामिल हो सकते हो । आज कल के दौर में अब ये अनुमान लगाना भी कठिन है कि प्रारम्भिक परीक्षा में क्या पूछा जायेंगा ।
UPSC कि इस परीक्षा कि खास बात हि यही है कि आप अनुमान हि नही लगा सकते कि परीक्षा का pattern क्या होगा । हर बार प्री परीक्षा के प्रश्न पत्र मे 100 प्रश्न आते है परन्तु कभी तो इसमे समसामयिकी ज्यादा होती है , कभी राजनिती विज्ञान तो कभी इतिहास या कभी कुछ और लेकिन अच्छी तैयारी करने वाला अभियार्थी चाहे जैसा भी प्रश्न पत्र आये वह हल कर डालता है।
इस लिए इस चीज के पीछे मत भागो कि किस भाग को ज्यादा करूं और किस भाग को कम बस अपनी तैयारी करो और उस पर भरोसा करो । प्री परीक्षा के मुख्य रूप से 7 हिस्से होते है, मान लिजिए आपने 6 विषयो कि अच्छी तैयारी कि और सम सामायिकी को छोड़ दिया ।
आपने यहां पर यह सोचा कि समसमायिकी से कोई 5-10 प्रश्न आयेंगे उसे छोड़कर मै बाकी 90 कर सकता हूँ । आप परीक्षा हाल गये प्रश्न पत्र खोला और देखा समसामयिकी से 70 प्रश्न आयें है, और हो गया राम नाम सत । बाकी बचे 2 घन्टे उदासी मे और परिणम होगा शून्य । आप ऐसी लापरवाही कभी भी न करें ।
अखबारो खास कर द हिन्दू को अवश्य पढ़े। ऐसा मेरे साथ हुआ था जब मैं 2016 में प्री कि परीक्षा में बैठा था और लापरवाही के कारण परिणाम शून्य रहा था , क्योकि इसके पहले ऐसा कभी भी नही हुआ था कि एक हि विषय से इतने प्रश्न आयें , इसलिए आप किसी भी वहम मे न रहे और अपनी तैयारी सभी विषयो पर बराबर रखे , क्योकि UPSC का कुछ भी अनुमान नही लगाया जा सकता कि प्रश्न पत्र कैसा आयेंगा ।
आप ने सैकडो website पर I.A.S कि book list देखी होगी लेकिन जब तक आप इस को आत्मसात् नही कर लेते आप सफलता नही पा सकते , अपने books sources कम रखे पर जितने भी हो अच्छे होने चाहिए , और उन books कि अच्छे से समझ होनी चाहिए । आप books को समझे न कि रट्टा लगाये ।
क्योकि रटने वालों का जमाना गया । जितना भी पढ़े अच्छा पढ़े और खुद पर विश्वास रखे।
धन्यवाद ।
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